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कृषक सुखराम कुशवाह, ग्राम सिमारा, तहसील पिपरियाग्राम सिमारा

rahul
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कृषक सुखराम कुशवाह, ग्राम सिमारा, तहसील पिपरिया
सफलता की कहानी: उद्यानिकी से समृद्धि की ओर

ग्राम सिमारा के कृषक सुखराम कुशवाह ने अपनी मेहनत, नवीन तकनीकों और सही मार्गदर्शन के बल पर खेती को एक नए स्तर तक पहुँचाया है। वे कृषि विज्ञान केंद्र, गोविन्दनगर से उद्यानिकी का प्रशिक्षण लेकर शिमला मिर्च और स्ट्रॉबेरी उत्पादन में सफलता प्राप्त कर चुके हैं।


सुखराम कुशवाह पहले पारंपरिक खेती करते थे, जिससे उन्हें सीमित लाभ ही प्राप्त होता था। लेकिन कृषि विज्ञान केंद्र गोविन्दनगर में प्रशिक्षण लेने के बाद उन्होंने उन्नत तकनीकों को अपनाने का निर्णय लिया। उद्यानिकी में रुचि रखते हुए उन्होंने शिमला मिर्च और स्ट्रॉबेरी की खेती को एक व्यावसायिक स्तर पर शुरू किया।


तकनीक और नवाचार

कृषि विज्ञान केंद्र के मार्गदर्शन में उन्होंने उन्नत बीज, ड्रिप सिंचाई और जैविक खाद का उपयोग किया। उन्होंने नई नई तकनिकी अपनाकर फसलों की उत्पादकता और गुणवत्ता में वृद्धि की ।

उनकी मेहनत रंग लाई और अब वे उच्च गुणवत्ता वाली शिमला मिर्च और स्ट्रॉबेरी का उत्पादन कर रहे हैं। उनकी फसलें न केवल स्थानीय बाजारों में बल्कि बड़े शहरों तक भी पहुँच रही हैं। इससे उनकी आय में कई गुना वृद्धि हुई और वे अन्य किसानों के लिए प्रेरणा स्रोत बन गए।


सुखराम कुशवाह का मानना है कि अगर किसान उन्नत तकनीकों और वैज्ञानिक खेती को अपनाएँ, तो कम भूमि में भी अधिक उत्पादन और बेहतर लाभ संभव है। वे अब अन्य किसानों को भी प्रशिक्षण देकर उनकी आय बढ़ाने में मदद कर रहे हैं। आगे उन्होंने क़ृषि विज्ञान केंद्र गोविन्दनगर के क़ृषि विशेषज्ञ का आभार करते हुए कहाँ की उनकी सतत तकनिकी मार्गदर्शन से ये संभव हो पाया है। 

उनकी यह सफलता इस बात का प्रमाण है कि सही ज्ञान, परिश्रम और आधुनिक कृषि तकनीकों के उपयोग से खेती को एक लाभदायक व्यवसाय में बदला जा सकता है।


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